रेपिड एंटीजन टेस्ट (रेट )क्या है ?
Rapid Antigen Test : एंटिजन टेस्ट रिपोर्ट 15 से 30 मिनट में ही आ जाती है। इसे बढ़ाने का यह फायदा होगा कि ज्यादा से ज्यादा संक्रमितों की पहचान कर उन्हें अलग-थलग किया जा सकेगा।
A rapid antigen test, or rapid test, is a rapid diagnostic test suitable for point-of-care testing that directly detects the presence or absence of an antigen. It is commonly used for the detection of SARS-CoV-2, the virus that causes COVID-19.
सार्स -कोव -२ वायरस की शिनाख्त एंटीजन परीक्षण या द्रुत एंटीजन जांच (रेपिड एंटीजन टेस्ट )के तहत उन प्रोटीन खंडों को पहचाना जाता है जिनका संबंध खासकर कोरोना वायरस के लिए ख़ास मायने रखता है एहम समझा गया है।
पंद्रह से बीस मिनिट में इसके नतीजे मिल जाते हैं। इसे किसी भी क्लिनिक डॉक्टर के दफ्तर या अस्पताल में संपन्न किया जा सकता है। इसकी आज़माइशें अब गली मोहल्लों रेज़िडेंट वेलफेयर एशोशिएशन में भी होने जा रही हैं ताकि ज्यादा से ज्यादा लोगों की तुरता जांच के बाद इलाज़ शुरू होवे अविलम्ब।
सार्स -कोव -२ जांच के लिए गोल्ड स्टेंडर्ड समझे जाने वाले टेस्ट को रिवर्स ट्रांस्क्रिप्शन पोलीमरेज़ चेन रिएक्शन (RT-PCR )कहा जाता है इसके तहत वायरस के आनुवंशिक पदार्थ आरएनए की जांच की जाती है यह भी कोरोना वायरस के लिए विशिष्ठ होता है। एकल या खुली कुंडली नुमा होता है आरएनए जबकि डीएनए डबल हेलिक्स दोहरी सर्पिल कुंडली बंटी हुई रस्सी सा होता है। इसके दायरे में वे लोग भी आ जाते हैं जिनमें कोविड के लक्षण अप्रकट (गैर -लाक्षणिक )बने रहते हैं।
यह जांच भी जो जहां है वहीँ हो सकती है कार में भी हो सकती है अन्यत्र भी।ख़ास सेटिंग की जरूरत नहीं है।इसके नतीजे भी
- RT-PCR टेस्ट की अनिवार्यता को लेकर ICMR ने नई गाइडलाइंस जारी की है
- संस्था ने कहा है कि दूसरे राज्यों से आने वाले स्वस्थ लोगों से टेस्ट रिपोर्ट लेने की जरूरत नहीं है
- आईसीएमआर ने देश में रैपिड ऐंटिजेन टेस्ट बढ़ाने की वकालत की है
नई दिल्ली
एक राज्य से दूसरे राज्य की यात्रा करने वाले स्वस्थ लोगों के लिए RT-PCR टेस्ट कराने की जरूरत पर पूरी तरह रोक लगाई जा सकती है क्योंकि ऐसी जांच प्रयोगशालाओं (Laboratories)पर बोझ बढ़ा रही हैं। भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (ICMR) ने देश में महामारी की दूसरी लहर के दौरान कोविड-19 की जांच के लिए अपने परामर्श में यह सिफारिश की है। परामर्श में कहा गया है कि रैपिड ऐंटिजन टेस्ट (RAT) या RT-PCR टेस्ट में संक्रमित पाए गए लोगों को दोबारा आरटी-पीसीआर जांच नहीं कराना है। आईसीएमआर ने संक्रमण से उबर चुके लोगों को अस्पतालों से छुट्टी दिए जाने के दौरान भी जांच कराने की जरूरत नहीं बताई है।
हर जगह खोले जाएं ऐंटिजन टेस्ट बूथ
कोविड-19 से प्रयोगशालाओं के कर्मचारियों के संक्रमित होने और मामलों के अत्यधिक बोझ के कारण संभावित जांच के लक्ष्य को पूरा करने में आ रही चुनौतियों के मद्देनजर यह एडवाइजरी जारी की गई है। इसमें ऐंटिजन टेस्ट बढ़ाने की सिफारिश के साथ ही कहा गया है कि हर सरकारी और निजी स्वास्थ्य केंद्रों में ऐंटिजन टेस्ट करने की अनुमति दी जा सकती है। उसने कहा कि शहर से लेकर गांव तक ऐंटिजन टेस्ट बूथ खोले जा सकते हैं ताकि ज्यादा से ज्यादा लोगों की टेस्टिंग की जा सके। आईसीएमआर ने लोगों से बेवजह यात्रा करने से बचने और जरूरी यात्रा के दौरान कोविड प्रॉटोकॉल का पालन करने की अपील की है।
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अभी प्रति दिन 15 लाख टेस्ट की क्षमता
स्वास्थ्य क्षेत्र में देश की अग्रणी शोध संस्था ने कहा है कि देश में पॉजिटिविटी रेट 20 प्रतिशत के पार कर गया है। ऐसे में टेस्टिंग-ट्रेकिंग-ट्रेसिंग, आइसोलेशन और संक्रमित व्यक्ति का घर पर रहकर इलाज की व्यवस्था से ही वायरस के फैलने की रफ्तार पर काबू पाया जा सकता है। देश में अभी 2,506 मॉलेक्युलर टेस्टिंग लैब्स हैं जिनमें RT-PCR, TrueNat, CBNAAT समेत कुछ अन्य प्लैटफॉर्म्स पर टेस्टिंग होती है। अभी देश की जांच क्षमता प्रति दिन 15 लाख की है। इसके लिए लैब्स में तीन शिफ्ट में काम करनी पड़ती है।
ऐंटिजन टेस्ट को मिले बढ़ावा
आईसीएमआर ने कहा कि देश में जून 2020 में कोविड के लिए ऐंटिजन टेस्ट की अनुमति दी गई थी। हालांकि, अभी यह टेस्ट सिर्फ कंटेनमेंट जोन और स्वास्थ्य केंद्रों तक ही सीमित है। एंटिजन टेस्ट रिपोर्ट 15 से 30 मिनट में ही आ जाती है। इसे बढ़ाने का यह फायदा होगा कि ज्यादा से ज्यादा संक्रमितों की पहचान कर उन्हें अलग-थलग किया जा सकेगा।
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इन जगहों पर खुल सकते हैं टेस्ट बूथ
इसके लिए स्वास्थ्य केंद्रों, रेजिडेंट वेलफेयर असोसिएशनों (RWAs), दफ्तरों, स्कूलों, कॉलेजों, सामुदायिक केंद्रों और अन्य खाली जगहों पर टेस्ट बूथ बनाए जा सकते हैं। इनमें चौबीसों घंटे टेस्ट किए जा सकते हैं। लेकिन एंटिजन टेस्ट बूथ स्थानीय प्रशासन से संपर्क करके उन जगहों पर स्थापित किए जाएं जहां खुली जगह हो और भीड़भाड़ का खतरा नहीं हो। आईसीएमआर ने कहा कि एंटिजन टेस्ट में निगेटिव पाए गए लोगों के आंकड़े आरटी-पीसीआर टेस्ट केंद्रों के पास भी उपलब्ध कराए जाएं।
नई लहर में कोरोना के कौन-कौन से लक्षण
उसने कहा कि कोरोना की नई लहर में संक्रमित हो रहे लोगों को खांसी या बिना खांसी के बुखार, सिरदर्द, गले में खरास, सांस लेने में दिक्कत, बदन दर्द, स्वाद और सूंघने की क्षमता खत्म होना, थकान और डायरिया जैसे लक्षण दिख रहे हैं। आइसीएमआर ने कहा है कि कोविड पॉजिटिव लोगों में किन्हें टीका लगा है और किन्हें नहीं, इसका ब्योरा आरटी-पीसीआर ऐप में मौजूद सैंपल रेफरल फॉर्म (SRF) में दर्ज करना बहुत जरूरी है। अगर कोई व्यक्ति ऐंटिजन टेस्ट में भी कोरोना पॉजिटिव पाया जाता है, तो उसका भी ब्योरा एसआरएफ में दिया जाए।

सांकेतिक तस्वीर।
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सन्दर्भ -सामिग्री :
(१) https://navbharattimes.indiatimes.com/india/icmre-advisory-about-doing-away-with-rt-pcr-test-for-inter-state-travel-and-increasing-antigen-tests/articleshow/82398833.cms
( २ )https://www.memorialhealthcare.org/whats-the-difference-between-covid-19-rapid-and-prc-tests/
(३ )
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